December 24, 2025

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विद्युत विभाग की लापरवही की सजा भुगत रहे उपभोक्ता, लाईन लाॅस पर रोक लगाने के बजाय बडा रहे बिजली के रेट, मोर्चा

 

विद्युत नियामक आयोग दर बढ़ाने के बजाय डिस्ट्रीब्यूशन लॉस कम करने की सोचे- मोर्चा

#डिस्ट्रीब्यूशन लॉस की मार झेल रहे उपभोक्ता | #25 से 40 फ़ीसदी डिस्ट्रीब्यूशन लॉस वाले हैं 15 विद्युत वितरण खंड | #डिस्ट्रीब्यूशन लॉस कम हो तो उपभोक्ता को मिले राहत |

विकासनगर- जन संघर्ष मोर्चा अध्यक्ष एवं जीएमवीएन के पूर्व उपाध्यक्ष रघुनाथ सिंह नेगी ने पत्रकारों से वार्ता करते हुए कहा कि यूपीसीएल की लापरवाही/ निकम्मेपन एवं विद्युत नियामक आयोग द्वारा यूपीसीएल पर चाबुक न चलाए जाने की वजह से प्रदेश के विद्युत उपभोक्ताओं को महंगी दर पर बिजली खरीदने को मजबूर होना पड़ रहा है | इस विद्युत मूल्य वृद्धि का मुख्य कारण डिस्ट्रीब्यूशन लॉस है, जिसको कम
करने की दिशा में कोई ठोस प्रयास नहीं किया जा रहा है | नेगी ने कहा कि अगर आंकड़ों पर गौर फरमाएं तो लगभग 15 वितरण खंड/ केंद्र में 25 से 40 फ़ीसदी डिस्ट्रीब्यूशन लॉस है; अन्य में 25 फ़ीसदी से कम है | नेगी ने कहा कि वर्ष 2021-22 व 2022-23 में क्रमशः विद्युत वितरण खंड, उत्तरकाशी में 34.03- 30.12, बड़कोट 28.29- 27.31, गैरसैण 32.54- 24.79, नारायणबगड़ 26.60- 39.54, रुड़की (शहरी) 34.83 -33.66, रुड़की (ग्रामीण) 31.21- 31.09, रामनगर (रुड़की) 27.34 -30.46, लक्सर 27.99- 28.07, बागेश्वर 29.31- 28.05, रुद्रपुर (द्वितीय) 34.88- 30.76, पिथौरागढ़ 25.00- 22.24, धारचूला 40.35- 37.77 फ़ीसदी तथा इसी प्रकार विद्युत वितरण केंद्र, टिहरी 26.61- 23.58, पिथौरागढ़ 27.17- 23.99, रुड़की 26.03- 26.71 फ़ीसदी है| उक्त अप्रत्याशित डिस्ट्रीब्यूशन लॉस पर विद्युत नियामक आयोग की निगाह नहीं पड़ रही है तथा आयोग सिर्फ और सिर्फ कीमतें बढ़ाने पर ध्यान दे रहा है |डिस्ट्रीब्यूशन लॉस बढ़ने की वजह से बाहर से बिजली महंगे दामों पर खरीदनी पड़ती है,जोकि सरकार पर अनावश्यक राजस्व बोझ है | मोर्चा विद्युत नियामक आयोग से मांग करता है कि यूपीसीएल पर चाबुक चलाए | पत्रकार वार्ता में- दिलबाग सिंह व के. सी. चंदेल मौजूद थे |

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